( 1 ) गिरफ्तारी करने में पुलिस अधिकारी या अन्य व्यक्ति , जो गिरफ्तारी कर रहा है , गिरफ्तार किए जाने वाले व्यक्ति के शरीर को वस्तुतः छुएगा या परिरुद्ध करेगा , जब तक उसने वचन या कर्म अपने को अभिरक्षा में समर्पित न कर दिया होः
• परन्तु जहां महिला को गिरफ्तार किया जाना है , जब तक परिस्थितियाँ प्रतिकूलता नहीं दर्शाती हो , गिरफ्तारी की मौखिक सूचना पर अभिरक्षा के लिए उसको , उपधारित किया जावेगा और जब तक परिस्थितियां अन्यथा अपेक्षा नहीं करे या पुलिस अधिकारी महिला नहीं हो , पुलिस अधिकारी महिला व्यक्ति को उसकी गिरफ्तारी के लिए स्पर्श नहीं करेगा ।
( 2 ) यदि ऐसा व्यक्ति अपने गिरफ्तार किए जाने के प्रयास का बलात् प्रतिरोध करता है या गिरफ्तारी से बचने का प्रयत्न करता है तो ऐसा पुलिस अधिकारी या अन्य व्यक्ति गिरफ्तारी करने के लिए आवश्यक सब साधनों को उपयोग में ला सकता है ।
( 3 ) इस धारा की कोई बात ऐसे व्यक्ति की जिस पर मृत्यु या आजीवन कारावास से दण्डनीय अपराध का अभियोग नहीं है , मृत्यु कारित करने का अधि कार नहीं देती है ।
( 4 ) केवल असामान्य परिस्थितियों के अतिरिक्त किसी भी महिला को सूर्यास्त के पश्चात् और सूर्योदय के पूर्व गिरफ्तार नहीं किया जा सकेगा और जहाँ ऐसी असामान्य परिस्थितियाँ विद्यमान हों , एक महिला पुलिस अधिकारी एक लिखित रिपोर्ट बनाकर प्रथम श्रेणी मजिस्ट्रेट , जिसके क्षेत्राधिकार में अपराध किया गया है या गिरफ्तारी होनी है , से पूर्वानुमति प्राप्त करेगी ।